किसान आंदोलन: सुप्रीम कोर्ट ने कहा- स्थिति में कोई सुधार नहीं, किसानों की हालत समझते हैं

किसानों से बातचीत जारी रखे सरकार, कृषि कानूनों को रद्द करने की अर्जी पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई 11 जनवरी तक टली

किसान आंदोलन: सुप्रीम कोर्ट ने कहा- स्थिति में कोई सुधार नहीं, किसानों की हालत समझते हैं


कृषि बिल पर सरकार और किसानों के बीच गतिरोध थमा नहीं है। किसान 42 दिन से आंदोलन कर रहे हैं। कृषि कानूनों को रद्द करने की अर्जी पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई 11 जनवरी तक टल गई। जस्टिस एसए बोबड़े की बेंच ने सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता और अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल से कहा कि स्थिति में कोई सुधार नहीं है, साथ ही कहा कि हम किसानों की हालत समझते हैं। कृषि कानून रद्द करने की अर्जी एक वकील ने लगाई है। केंद्र सरकार की तरफ से कोर्ट में पेश हुए सॉलिसिटर जनरल और अटॉर्नी जनरल ने कहा, श्किसानों से अच्छे माहौल में बातचीत हो रही है। हो सकता आने वाले समय में कोई नतीजा निकल आए, इसलिए फिलहाल सुनवाई करना ठीक नहीं होगा।श् कोर्ट ने इस बात को मान लिया और सुनवाई सोमवार तक टाल दी। साथ ही कहा कि किसानों से बातचीत जारी रखें।

किसान कल ट्रैक्टर मार्च निकालेंगे, 26 जनवरी को 250 महिलाएं करेंगी ट्रैक्टर परेड
किसानों ने खराब मौसम की वजह से 6 जनवरी की बजाय 7 जनवरी को यानी कल दिल्ली के चारों तरफ ट्रैक्टर मार्च निकालने का ऐलान किया है। उन्होंने कहा कि यह मार्च 26 जनवरी को होने वाली ट्रैक्टर परेड का ट्रायल होगा। सिंघु बॉर्डर पर किसानों ने कहा कि अगर सरकार ने कृषि कानून वापस नहीं लिए तो वे दिल्ली में 26 जनवरी को ट्रैक्टर परेड करेंगे। परेड का नेतृत्व पंजाब और हरियाणा की महिलाएं करेंगी। वे किस तरह रैली को अंजाम देंगी, ये भी सोच लिया है। हरियाणा की करीब 250 महिलाएं ट्रैक्टर चलाने की ट्रेनिंग ले रही हैं।

सरकार और किसानों के बीच 8 जनवरी को होगी बातचीत
किसानों और सरकार के बीच 4 जनवरी की मीटिंग बेनतीजा रही और अगली तारीख 8 जनवरी तय हुई। अगली मीटिंग में कृषि कानूनों को वापस लेने और डैच् पर अलग कानून बनाने की मांग पर बात होगी। यह 9वें दौर की बैठक होगी। इससे पहले सिर्फ 7वें दौर की मीटिंग में किसानों की 2 मांगों पर सहमति बन पाई थी, बाकी सभी बैठकें बेनतीजा रहीं।

टिकरी बॉर्डर पर पक्के ठिकाने बनाने शुरू किए किसान
आंदोलन लंबा खिंचता देख किसानों ने टिकरी बॉर्डर पर ईंट-गारे से पक्के ठिकाने बनाने शुरू कर दिए हैं। पिछले दिनों हुई बारिश के चलते उनके टेंट गिर गए थे। आंदोलन कर रहे किसान सड़क के बीच में ही पक्के ऑफिस भी बना रहे हैं। अब वे मवेशियों को भी यहीं लाने की तैयारी कर रहे हैं।

पंजाब में फतेहगढ़ साहिब के एक किसान की हार्ट अटैक से मौत
पंजाब के फतेहगढ़ साहिब के गांव रुड़की के किसान गुरदर्शन सिंह (48) की मंगलवार को हार्ट अटैक से मौत हो गई। वे दिल्ली में आंदोलन में शामिल हुए थे। उनके बेटे ने बताया कि 3 जनवरी को दिल्ली में पिता की तबीयत खराब होने पर डॉक्टरों ने उन्हें घर भेजा था। यहां उनकी मौत हो गई।

जबरन स्टोर बंद कराने के खिलाफ रिलायंस जियो की अर्जी पर पंजाब सरकार को नोटिस
किसान आंदोलन के बीच टेलीकॉम नेटवर्क डैमेज करने और जबरन स्टोर बंद कराने के खिलाफ रिलायंस जियो ने पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट में अर्जी लगाई थी। कोर्ट ने मंगलवार को सुनवाई करते हुए पंजाब सरकार और केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा। अगली सुनवाई 8 फरवरी को होगी।