केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी का प्रयास, देश में एथेनॉल से चलने वाले वाहन बनें

केंद्रीय मंत्री ने शनिवार को पुणे में एक कार्यक्रम के दौरान कहा, “बजाज, टीवीएस और हीरो जैसी कंपनियां फ्लेक्स फ्यूल से चलने वाले मोटरसाइकिल और ऑटो लाएं।

केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी का प्रयास, देश में एथेनॉल से चलने वाले वाहन बनें
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी देश में महंगे पेट्रोल-डीजल पर निर्भरता कम करने के लिए लगातार वैकल्पिक ईंधन को अपनाने पर जोर दे रहे हैं।

4 जून 22। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी देश में महंगे पेट्रोल-डीजल पर निर्भरता कम करने के लिए लगातार वैकल्पिक ईंधन को अपनाने पर जोर दे रहे हैं। अब हाल ही में केंद्रीय मंत्री ने ऐसे संकेत दिए हैं कि देश में जल्द एथेनॉल से चलने वाले वाहन शुरू हो सकते हैं। इसके लिए वे सरकार और कंपनियों के स्तर पर बातचीत को आगे बढ़ा रहे हैं।
केंद्रीय मंत्री ने शनिवार को पुणे में एक कार्यक्रम के दौरान कहा, “बजाज, टीवीएस और हीरो जैसी कंपनियां फ्लेक्स फ्यूल से चलने वाले मोटरसाइकिल और ऑटो लाएं। 
उन्होंने कहा कि मैं पुणे गया था, वहां मुझे इंडियन ऑयल के 3 एथेनॉल पंप मिले, लेकिन अभी तक इसकी एक भी बूंद नहीं बिकी। इसलिए मैं महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार से अनुरोध करना चाहता हूं कि आपको इसके लिए आगे आना चाहिए। पुणे में 100% एथेनॉल पर स्कूटर-ऑटो शुरू करने के लिए हम बजाज से बात करेंगे। इससे प्रदूषण भी कम होगा।”

ग्रीन और वैकल्पिक ईंधन के उपयोग पर जोर दे रही सरकार
पिछले साल दिसंबर में केंद्रीय मंत्री ने वाहन निर्माता कंपनियों को 6 महीने के भीतर फ्लेक्स फ्यूल से चलने वाले वाहन बनाने पर जोर दिया था। उन्होंने कहा था कि केंद्र सरकार ग्रीन और वैकल्पिक ईंधन के उपयोग को प्रोत्साहित करने के लिए काम कर रही है, जिसमें कंपनियों को भी आगे आना होगा। टीवीएस मोटर्स और बजाज ऑटो जैसी ऑटो कंपनियों ने अपने फोर व्हीलर और थ्री व्हीलर वाहनों के लिए भी फ्लेक्स-फ्यूल इंजन का निर्माण शुरू कर दिया था।

पेट्रोल में एथेनॉल मात्रा बढ़ेगी
हाल ही में केंद्रीय कैबिनेट ने पेट्रोल में एथेनॉल के 20 फीसदी मिलावट के लक्ष्य को 2025-26 तक पूरा करने को हरी झंडी दिखाई है। इससे पहले यह लक्ष्य 2030 तक के लिए तय किया गया था। फिलहाल पेट्रोल में करीब 10 फीसदी एथेनॉल मिलाया जाता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में जैव-ईंधन (बायोफ्यूल) पर नेशनल पॉलिसी में संशोधन को मंजूरी दी गई थी। इसके तहत एथेनॉल का प्रोडक्शन बढ़ेगा। साथ ही, प्रोडक्शन बढ़ाने के लिए कई और फसलों के इस्तेमाल की भी मंजूरी दी गई है।

आत्मनिर्भर भारत को मिलेगा बढ़ावा
वर्तमान में भारत अपनी कच्चे तेल की जरूरतों को पूरा करने के लिए 85 फीसदी तेल इम्पोर्ट करता है। ऐसी स्थिति में बायोफ्यूल पॉलिसी काफी मददगार होगी, जिससे इम्पोर्ट पर देश की निर्भरता को कम होगी। सरकार की ओर से कहा गया है कि चूंकि बायोफ्यूल प्रोडक्शन के लिए कई और प्रोडक्ट की अनुमति दी जा रही है, इससे आत्मनिर्भर भारत को बढ़ावा मिलेगा। इससे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भारत को 2047 तक एनर्जी मामले में आत्मनिर्भर बनाने के सपने को पूरा करने में मदद मिलेगी।